Skip to main content

What does it tell us, what we can learn from it? (in Hindi) | A Deep analysis of Fight Club Movie

People do it every day, they talk to themselves... they see themselves as they'd like to be, they don't have the courage you have, to just run with it.

-Tyler Durden from flight club-

फाइट क्लब मूवी हमें जो जिंदगी हम जी रहे हैं और जो जीना चाहते हैं उसमें बखूबी अंतर बताती है। हमें पता चलता है कि किस तरह वह दोनों एक दूसरे से बिल्कुल अलग है, एक दूसरे से कितना विपरीत है। मूवी हमें दिखाती है कि असल में आप कौन हैं या यूं कहें कि आप खुद को कैसा देखते हैं और आप क्या बन चुके हैं ।

Fight Club in Fight Club

फाइट क्लब में Fight Club मर्दों के भीतर के किसी अहिंसा पूर्वक छवि को नहीं दर्शाता, ना ही किसी तरह की अहिंसा को बढ़ावा देता है फाइट क्लब में Fight Club हमें जीवन के फ्रस्ट्रेशन को दिखाता है यह दिखाता है कि किस हद तक लोग अपने उन रोजमर्रा के कामों से नफरत करते हैं लेकिन उसके बावजूद भी वह उस कार्य को लगातार कर रहे हैं। वह बस इस समाज के बनाए हुए नियमों पर आंखें बंद कर चले जा रहे हैं।

मूवी में हमें बताया जाता है कि किस तरह लोग Fight Club में शामिल होने से पहले कमजोर और नाजुक हुआ करते थे लेकिन Fight Club में शामिल होने के बाद उनकी चमड़ी सख्त और मजबूत हो जाती है, जो हमें हमारी मानसिक स्थिति को शारीरिक रूप में दिखाती है Fight Club में लोगों द्वारा एक दूसरे से लड़ना हमें दिखाता है कि किस तरह हमें दर्द भी मजा देने लगता है जब हम वह करते हैं जो हम चाहते हैं और किस तरह हमें आराम भी दर्द की भांति प्रतीत होने लगता है जब हम केवल समाज में सही दिखने के लिए कार्य करते हैं। आपको वह काम जो आपने करने को चुना तो है लेकिन आप करना नहीं चाहते किस तरह आपको समृद्धि देने के बावजूद भी किसी नरम त्वचा की तरह कमजोर बनाता है, आपको किस तरह निराश करता है और वहीं आपका अपनी जिंदगी को अपने तौर पर, अपनी शर्तों पर जीना किस तरह आपको मजबूत बना देता है।

मूवी हमें दिखाती है कि हम किस तरह केवल खुद को समाज में ऊंचा दिखाने के लिए बेवजह दौड़े जा रहे हैं, किस तरह हम वह सारी चीजें खरीद रहे हैं जिनकी हमें कोई जरूरत ही नहीं और किस तरह हम खुद को ही खोते जा रहे हैं। आप खुद क्या चाहते हैं यह तो आप भूल ही गए है: आपको एक बड़ा घर चाहिए पर आपको पता नहीं क्यों? आप अकेले हैं लेकिन उसके बाद भी आप एक बड़े घर की इच्छा करते हो केवल इसलिए जिससे आप समाज में एक ऊंची जगह बना सके।

Starbuck Logo in Movie

अगर आपने गौर किया होगा तो आपने पाया होगा कि पूरी मूवी में StarBuck Coffee का Logo दिखाया है, जो हमें दिखाता है कि किस तरह कॉरपोरेशन, कंपनी आपको पूरी तरह घेर लेती है, किस तरह आपके जीवन में एक महत्वपूर्ण जगह बना लेती है अगर हम फाइट क्लब बुक की बात करें तो यह 1996 में लिखी गई थी और 1996 ऐसा दौर था जब StarBuck Company ने अपने पैर फैलाने शुरू किए। StarBuck Coffee का Logo हमें हमारी लत के बारे में बताता है और केवल कॉफी की लत नहीं यह हमें बताता है कि किस तरह कॉरपोरेशन हमें अपनी चीजों का आदि बना रही है, जिन चीजों के बिना हम अब तक जी रहे थे अब कुछ महीनों के बाद ही हमें लगता है मानो इसके बिना आपकी जिंदगी का गुजारा ही नहीं हो सकता।

मूवी में Narrator dining set, coffee table, sofa आदि खरीदता दिखाई देता है जो हमें कॉरपोरेशन, कंपनी की लत पर ही ध्यान केंद्रित करता है। Narrator का यह बोलना कि I had to have it” हमें दिखाता है कि किस तरह हम ऐसी चीजों को जिनकी हमें जरूरत नहीं उन्हें जरूरत मान चुके हैं, किस तरह उन्हें हम अपनी जिंदगी का वह हिस्सा मान चुके हैं जो हिस्सा कभी केवल हवा, पानी, और खाने का था।

You're never really asleep and awake

मूवी में Narrator का Insomnia से पीड़ित होना हमें केवल narrator की परिस्थिति को ही नहीं दर्शाता। असल में हम में से किसी को पता ही नहीं कि हम जग रहे हैं या सो रहे हैं। आप ना तो सच में सोए होते हैं ना ही जाग रहे होते हैं, आपको पता ही नहीं होता कि आप Sea Tac, SFO, LAX, O’Hare, Dallas Fort Worth, BWI, Pacific, Mountain, Centtral में है या कहां है या यूं कहें जीवन के किस मोड़ पर है, आप एक घंटा देरी से है या जल्दी है। आपको कुछ पता ही नहीं होता आप बस चलते जा रहे हो आपको पता है कि आपका वक्त मिनट दर मिनट कम हो रहा है लेकिन आप हर दिन वही एक जिंदगी जी रहे हो, एक छोटी सी जिंदगी जिसमें केवल single serving sugar and cream, single pat of butter, The microwave cordon bleu hobby kit, shampoo-conditioner combos, sample-package mouthwash, tiny bar of soap के अलावा और कुछ है ही नहीं।

Single-Serving/Temporary Friends

मैं कभी-कभी सोचता हूं कि क्या हो अगर मेरे सर से छत छिन जाए मेरे रहने का कोई ठिकाना ना रहे तो ऐसे में मैं कहां जाऊंगा। मेरे मोबाइल में 400 से ज्यादा लोगों के नंबर सेव है और सोशल मीडिया पर तो उससे भी ज्यादा दोस्त हैं लेकिन उसके बावजूद भी कोई एक ठिकाना मिलना मुश्किल हो जाता है। आधे से ज्यादा नंबर ऐसे निकलते हैं जिनसे आप पूछ तक नहीं सकते और बचे हुए लोगों में से ज़्यादातर लोगों का आपको पहले से पता होता है कि उनका उत्तर क्या होगा लेकिन उसके बाद भी आपकी मजबूरी उनसे पूछने पर मजबूर कर देती है और उत्तर में वही आता है जिसका आपको पहले से ही पता था और फिर इनमें से भी जो एक दो लोग बचे होते हैं, जिन पर आपको किसी हद तक भरोसा होता है कि वहां से कुछ मदद मिल जाएगी तो वह लोग भी उस वक्त अपनी जिंदगी की कशमकश में इतना उलझे होते हैं कि उनके लिए आपकी मदद करना नामुमकिन सा होता है और अंत में आप अकेले ही अनजान रास्तों पर चलना चुनते हैं।

यही बात मूवी narrator के घर को जल जाने के बाद समझाती है वह कहती है कि आप अपने फ्लाइट वाले दोस्तों को Temporary Friends मान रहे हैं क्योंकि आप उनसे बस एक बार ही मिलते हैं लेकिन क्या आपकी जिंदगी में सारे दोस्त Temporary या Single-Serving Friends नहीं? क्या आप जिन से रोज मिलते हैं वह भी केवल एक Temporary Friends नहीं? मदद के वक्त क्या आप अकेले नहीं? आपके पास ऐसा कोई नंबर है ही नहीं जिसके पास आप मदद के लिए हाथ बढ़ा सकें अगर आपके पास किसी का नंबर है तो वह बस Tyler durden का है, जो कोई और नहीं आप खुद ही हैं।

ऐसा नहीं है की मैं यहां किसी को गलत या मक्कार दिखाने की कोशिश कर रहा हूं, मुझे पता है सब के पास मदद ना करने का भी अपना-अपना कारण है क्योंकि बिना कारण के कोई किसी नतीजे पर पहुंच ही नहीं सकता। कुछ लोग आप पर अभी इतना यकीन ही नहीं करते, किसी को आपकी जिंदगी से कोई मतलब ही नहीं, तो कोई अपनी समस्याओं में गिरा हुआ है यह ठीक Squid Game के मार्बल गेम जैसा है जिसमें आपको खुद और दूसरे में से किसी एक को चुनना होता है और हमें पता है कि आप खुद को ही चुनेंगे।

Pray for plane crash or a mid-air collision

Narrator का फ्लाइट के दौरान उसके क्रैश होने की दुआ करना हमें दिखाता है कि जिंदगी कितनी हताश हो चली है। बचपन में शायद आपने भी कभी चोट लगने की दुआ की हो जिससे आप रोज-रोज के स्कूल जाने से बच सके। दोनों तमन्ना का इरादा एक ही है बस यहां बच्चा कुछ दिन के लिए मुक्ति मांग रहा है तो वहां Narrator जिंदगी भर के लिए और दोनों की ऐसी इच्छा के पीछे का कारण एक ही है इस नियम भरी जिंदगी के नियमों से मुक्त होना, इस सिस्टम से हटकर जीने की इच्छा, समाज द्वारा बनाई गई जिंदगी को ठुकरा देना। इसी के साथ Narrator का यह बताना कि अगर बिजनेस ट्रिप के दौरान आप की मौत हो जाए तो लाइफ इंश्योरेंस आपको 3 गुना पैसा देते हैं, हमें इंसानों का पैसों के प्रति लगाव को दिखाता है यह बताता है कि किस तरह लोग 3 गुना पैसा पाने की खातिर खुद को भूल ही गए हैं, मानो उन्होंने खुद को मार ही दिया हो या वह मर ही गए हो, वह बस कुछ चंद और पैसे कमाने में व्यस्त है।

Roll of Marla Singer in Movie

मूवी में Marla Singer एक बहुत ही अहम किरदार है और ऐसा खुद Narrator भी मूवी की शुरुआत में कहता दिखाई देता है। वह Marla Singer ही होती है जो Tyler को आने और जाने में दोनों रूप से ट्रिगर करती है। कुछ लोग कह सकते हैं कि Marla Singer को Narrator पसंद नहीं करता था लेकिन असल में ऐसा नहीं है क्योंकि वह खुद को उसके काबिल नहीं समझता था और इसलिए ही वह उसे पसंद नहीं करता था। उसकी दिलचस्पी Marla Singer के लिए हम मूवी में इससे भी देख सकते है की घर जल जाने के बाद वह सबसे पहले उसे ही कॉल करता है लेकिन खुद को काबिल ना समझने के कारण ही वह कॉल काट देता है और फिर Tyler को करता है और उसका खुद को उसके काबिल ना समझ पाना ही एक बहुत बड़ा कारण भी बना Tyler के बाहर आने का साथ ही यही कारण था Marla Singer का Tyler के साथ अफेयर होने का ना कि Narrator के साथ और जहां शुरुआत में Marla Singer ही अहम वजह रही Tyler के सामने आने की तो अंत में वही वजह बनी Tyler के जाने की।

Which one was the Real- Narrator or Tyler?

मूवी में Narrator के दो रूप दिखाएं गए हैं एक Narrator और एक Tyler Durden, लेकिन पूरी मूवी के दौरान अगर आप गौर करेंगे तो उसके तीन रूप हैं । तीसरा हमें जब देखने को मिलता है जब Tyler की मौत हो जाती है और जो बचता है वही उसका असली रूप होता है। इससे ज्यादा यह कहना सही होगा कि जब Narrator और Tyler दोनों की मौत हो जाती है, और जो अंत में बचता है वह न तो Narrator होता है न ही Tyler.

मूवी हमें दो एक्सट्रीम केस दिखाती है एक Narrator के रूप में तो और दूसरा Tyler के, पर दोनों ही परेशानियां लाते हैं फिर चाहे Tyler की लाइफ को लेकर philosophy आपको कितनी भी अच्छी लगे या वह कितना भी कूल या सबसे अलग लगे। मूवी हमें अंत में बताती है कि अगर आपको खुद को ढूंढना है तो आपको अपने भीतर के Tyler और Narrator दोनों को ही अपने काबू में करना होगा, आपको प्रेम को चुनना होगा और प्रेम का मतलब यहां Marla Singer या किसी इंसान से नहीं है, यहां प्रेम को अपने स्वभाव में लाने से है अपने भीतर प्रेम का दिया जलाने से है और प्रेम का सही अर्थ होता भी यही है, खैर प्रेम के बारे में कभी और विस्तार से बात करेंगे।

What if God didn't like you

You have to consider the possibility that God does not like you. He never wanted you. In all probability, he hates you.

-Tyler Durden from flight club-

मूवी हमें हटकर सोचने को कहती है वह चाहती है कि आप अपने तरीके से सोचे असल में आप को क्या लगता है यह खुद पता करें मूवी हमें सालों से चलती आ रही मान्यताओं को ठुकरा कर सोचने को कहती है क्योंकि मान्यताओं को मानना बहुत आसान है, ज्यादातर जीवित व्यक्ति यही तो कर रहे हैं। मूवी हर एक संभावना के बारे में सोचने को कहती है साथ ही हमें दिखाती है कि हम किस तरह आंख मूंद कर भरोसा कर रहे हैं। वह चाहती है कि आप आंखें खुले एक बार यह समाज द्वारा बनाई गई दीवार, नियम, मान्यताओं को ठुकरा कर अपने तरीके से सोच कर देखें।

हम देख सकते हैं कि यह समाज की दीवारें या उसका जाल जिसमें आप फंसे हैं यह कितना मजबूत है: ऐसी कई बातें हैं जिन पर आप यकीन करते हैं जैसे आप को अमीर ही बनना है, यह अच्छा इंसान है या यह बुरा, यह बात बुरी है या यह अच्छी, भगवान आपसे प्रेम करता है, वह आपको देख रहा है, लेकिन आप ज़रा गौर कीजिए क्या यह आप ही है जो यह सब मानते हैं या आपको कोई और मजबूर कर रहा है आपके दिमाग में यह सब डाला जा रहा है।

अगर आप एक पूरे समाज में से एक छोटा हिस्सा निकाल लोगे तो पाएंगे कि हर एक की मान्यताएं अलग है कहीं जो चीजें गलत है तो वहीं वही चीज सही भी है लेकिन आप उसके बावजूद भी लोगों को सही गलत में भाँपते हैं क्योंकि यह आप नहीं यह आपके अंदर बैठा आपका समाज भाँप रहा होता है। ऐसे में जरा सोचिए आपका अपना अस्तित्व ही क्या है शायद कुछ भी नहीं आप अब खुद ही सोच सकते हैं कि यह कितना बेतुका और खोखला है आपके पास कुछ भी आपका है ही नहीं, यहां तक कि आप की मान्यताएं तक आपकी नहीं, आपको लग रहा है कि आप अपने तौर-तरीक़े से जी रहे हैं लेकिन आप केवल इस समाज द्वारा चलाये जा रहे हैं।

और यह आखिर कौन चला रहा है? तो यदि आप थोड़ा गौर करें तो पाएंगे की कुछ साल पहले ऐसी बहुत सी चीजें थी जो उस वक्त गलत मानी जाती थी लेकिन आज वह आपके लिए सही गलत में तोलने लायक चीज ही नहीं बची, आप देख सकते हैं यह बड़ी-बड़ी कंपनी यह बड़े-बड़े लोग किस तरह आपके साथ खेल रहे हैं। यह अपने अनुसार नियमों को बदलने की ताकत रखते हैं और आप गुलामों की भांति उनकी बातों में भी आ रहे हैं।

आपको ऐसी कई चीजों के बारे में पता होगा जो पहले आपको गलत लगा करती होंगी लेकिन टीवी, एडवरटाइजमेंट, मूवीस ने वही सारी चीजें दिखा-दिखा कर आपको इतना आदि कर दिया कि अब आपके लिए वह बहुत आम बन गई होगी और कुछ चीजें तो बुरी से अच्छी भी बन गए होगी। मैं यह नहीं कह रहा की पहले की चीजें अच्छी या बुरी थी मैं बस कहना चाहता हूँ की आपको लगेगा कि आप वक्त के साथ अपनी सोच को भी बड़ा कर रहे हैं लेकिन असल में आपकी सोच अब भी वही है जहाँ पहले थी, आपने अपनी सोच को बड़ा नहीं किया बस समाज ने उसे बदल दिया है वरना आप आज भी उन नियमों के परे नहीं सोच पा रहे है, आपकी अभी भी कई सीमाएं हैं जो समाज द्वारा निर्धारित की गयी है, बस वह पहले से बदल गई है और यह बदलाव भी आपने अपने आप नहीं अपनाया, आपने तो बस समझ द्वारा दिया गया एक तोहफ़ा स्वीकार किया है

ऐसा नहीं है कि सिस्टम ने हमें फायदा नहीं पहुंचाया इसमें कोई शक नहीं कि हमें इसका फायदा बहुत पहुंचा है, इसने कई चीजों को सुधारा है फिर चाहे आप सालो से चलती आ रही कुप्रथा का उदाहरण लें या लोगों के स्वीकार करने की झमता का, लेकिन आपका इसके ही गुलाम बने रहना यह कोई फायदा का सौदा नहीं, आपको खुद को खोजना ही होगा, इन दीवारों को तोड़ना ही होगा, इस जाल से आजाद होना ही होगा, क्योंकि यह अंत में आपको अपने निजी स्वार्थ के लिए बर्बाद कर भी देगा, आप कभी स्वतंत्र नहीं हो पाएंगे, आप एक गुलाम से ज्यादा कुछ नहीं बन पाएंगे। स्वतंत्र होने के लिए आपको इन सारे नियमों, मान्यताओं के परे सोचना ही होगा, आपको निस्वार्थ भाव रखना होगा, आपको अपनी ही सोच या विचारों को टक्कर देनी होगी, आपको चीजों को सही गलत के परे जाकर देखना होगा।

Cult Culture: A Slavery

इसमें कोई शक नहीं कि आप Tyler नाम के किरदार से बहुत कुछ सीख सकते हैं, समझ सकते हैं, उसके जीने के तरीकों को किसी हद तक अपनाकर अपने आप को बेहतर भी बना सकते हैं, लेकिन मैं एक बात जरूर कहना चाहूंगा कि आपको उसकी बातें नहीं माननी चाहिए क्योंकि शुरुआत में वह जिस जंजीर को तोड़ने की बात करता है वह अंत आते-आते एक ऐसी ही नई जंजीर तैयार भी करता है। जहां पहले हमें लोगों को गवर्नमेंट या समाज का गुलाम दिखाया गया है तो वहीं अंत आते-आते हम उन्हीं लोगों को Tyler का गुलाम होते देखते हैं उन सब की जिंदगी में बदला कुछ नहीं, कुछ बदला तो बस राजा था और इसकी मदद से मूवी हमें आजकल के cult culture को बहुत ही अच्छी तरह दिखाती है यह दिखाती है कि लोग खुद को किस हद तक भूल जाते हैं। उन्हें लगता है यह हमारी जिंदगी बदल देगा, यह हमें खुद से मिलवा सकता है, लेकिन अंत तक वह बस उनके गुलाम बन जाते हैं, उन्हें लगता है उन्होंने खुद को या ईश्वर को प्राप्त कर लिया किंतु वह बस अपना मोह बदल लेते हैं जहां पहले उनका मोह समाज की चीजों में था तो अब वही मोह वह उनके गुरु के लिए हो जाता है। मूवी हमें दिखाती है कि किस तरह लोग ईश्वर या खुद को कभी ढूंढ ही नहीं पाते वह बस अपनी दिलचस्पी बदल लेते हैं और इसमें इतना खो जाते हैं कि उन्हें खुद का होश तक नहीं रहता। वह कुछ भी करने को तैयार हो जाते हैं, उनके लीडर के खिलाफ कोई कुछ बोल दे तो उसे मारने तक पर उतर आते हैं।

मूवी हमें दिखाती है कि cult culture काम कैसे करता है पहले वह लोग आपको वह देते हैं जिसकी आपको जरूरत होती है और फिर किसी नशेड़ी की भांति आपको उसकी लत लगवा देते हैं या आपको  लग जाती है। आप इतना नशे में चूर हो जाते हैं कि आपको उस नशे और उस नशे को प्रदान करने वाले के अलावा कुछ दिखता ही नहीं आपकी जिंदगी में बदला अभी भी कुछ नहीं होता क्योंकि बदलाव तो त्याग से आता है लेकिन यहां आप बस अपनी जरूरतें बदलते हैं और यही एक कारण है कि बुद्ध के इतने सारे शिष्यों में से कोई भी दूसरा बुद्ध नहीं बन सका। यहाँ आप आजकल के अध्यात्मिक गुरुओं को भी ले सकते हो उनके अनंत शिष्यों के बावजूद भी कोई उन जैसा नहीं होता क्योंकि वह खुद की तलाश में कभी निकलते हैं ही नहीं, वह केवल संतुष्टि की खोज में निकलते है , वह कभी अपने मोह का त्याग करते ही नहीं (गुरु का मोह) और यही एक कारण है की आज पाखंडियों के दरवाजों पर भी भीड़ देखी जा सकती है।

Some Reference/Recommendation

अगर आपको इसके बारे में और जानना और महसूस करना है तो आप Hermann Hesse द्वारा लिखी गई Siddhartha नाम की किताब को पढ़ सकते हैं उसमें जितनी खूबसूरती से खुद को खोजने या ईश्वर को प्राप्त करने की बात को रखा गया है शायद ही आपको कहीं और मिले। किताब में एक इंसान बुद्ध को त्याग देता है वह कहता है कि आप दूसरों के ज्ञान से कभी अपने आप को नहीं खोज सकते आपको इसका सफर खुद अकेले ही तय करना होगा और वह बुद्ध को त्याग देता है।

और आपको असल जिंदगी में cult culture के परिणाम देखना है जो दिखाए गई मूवी से भी भयानक है तो आप Jim Jones की कहानी इंटरनेट से पढ़ सकते हैं जिसके कहने पर लगभग 930 लोगों ने 19 नवंबर 1978 में आत्महत्या कर ली थी जिसमें लोगों ने पहले अपने बच्चों को जहर दिया और फिर खुद खा लिया।

-Thank You-

Comments

Popular posts from this blog

A deep analysis of Squid Game: आखिर सिरीज़ हमसे कहना क्या चाहती, हमें बताना क्या चाहती है?

सीरीज के अंदर 6 गेम है और सभी ऐसे है जिन्हें बच्चे बचपन में खेला करते थे। मैंने कई फिल्में देखी है जो इस शैली में आती है जिनके अंदर भी कुछ इसी तरह इंसानी खून का खेल खिलाया जाता है लेकिन आखिर फिर इसमें ऐसा क्या है जो इसे सबसे अलग बनाती है Contents Life in the hell A Trial Game- DDAKJI Game 1 - Red Light Green Light Clause 3: Games may be terminated if the majority agrees Life of Persons behind the Red Tracksuit Fight for the Food Game 2 - Honeycomb shape cutting Game 3 & 4 - Tug of War & Marbles Game 4 – Marbles Marbles Game: Ji-yeong Sacrifice Marbles Game: Abdul Ali Death Player 244: A Question on Existence of God Game 5 – Glass Stepping Stones Delicious food: Divide and Rule Decorated Coffin Game 6 – Squid Game What is the real Value of 10,000won? A co

देवी प्रतिबंधों का शीर्षक है, शक्ति का नहीं।

अगर मैं अपनी बात करूँ, तो लोगो का यह कहना की हम औरतों को देवी समान मानते है, मुझे यह किसी वाहियाद बात से ज्यादा कुछ नज़र नहीं आती ख़ास तौर पर जब बात महिलाओं के हक़ की हो, उनकी आजादी के बारे में हो। इसी के साथ यह और बुरा हो जाता है जब कोई औरत ख़ास तौर पर जब कोई पारंपरिक महिला इस बात पर यकीन कर लेती है कि वह एक देवी समान है। क्यूंकि यह एक बहुत ही सुंदर दिखने वाले पिंजरे से ज्यादा कुछ भी नहीं, इस पिंजरे को आप दुनियाँ का सबसे खूबसूरत पिंजरा भी कह सकते है लेकिन दुनियाँ का सबसे ज्यादा खूबसूरत पिंजरा भी आपको आपकी आजादी नहीं दे सकता, आपको आजादी के लिए न चाहते हुए भी इस पिंजरे को तोडना तो होगा ही। और अगर यह पिंजरा कुछ दे सकता है तो वह बस कुछ छड़ कि ख़ुशी लेकिन उसके लिए भी आपको अपनी आजादी दाव पर लगानी होगी। पहले जब महिलायें अपने अधिकार और अपनी स्वतन्त्रा के बारे में ज्यादा नहीं सोचा करती थी तब वह सब इस पिंजरे में ही रहा करती थी लेकिन आज खासकर हिन्दुस्तान में जब महिलाओं ने अपने अधिकार और अपनी स्वतंत्रता पर गौर करना शुरू किया और जब अपने अधिकारों के लिए आवाज उठाना शुरू किया तब ज्यादातर महिलाओं के लि